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कोल्हान विश्वविद्यालय के कुलपति ने महिला कॉलेज सरायकेला

के सत्र का विधिवत किया शुभारंभ….

सरायकेला Sanjay । कोल्हान विश्वविद्यालय के सरायकेला महिला कॉलेज में शुक्रवार को सत्र प्रारंभ हुआ। इस मौके पर कुलपति गंगाधर पंडा एवं विश्वविद्यालय के अन्य अधिकारी उपस्थित रहे। कुलपति ने सभी छात्राओं से परिचय प्राप्त की तथा विधिवत रूप से कक्षा प्रारंभ कराया। इस अवसर पर कुलपति ने संबोधित करते हुए कहा कि महिला कॉलेज खरसावां के पॉलिटेक्निक भवन में संचालित हो रहा था। महाविद्यालय का अपना भवन नहीं था जिसके कारण महाविद्यालय के संचालन में काफी परेशानी हुई। परंतु अब यहां छात्राओं को बेहतर शिक्षा दी जाएगी। छात्राओं के लिए स्मार्ट क्लासरूम के अलावे तमाम व्यवस्थाएं हैं। वे उड़िया भाषा में यूजी कर पाएंगे। कोल्हान विश्वविद्यालय द्वारा इसी सत्र से ही इसकी शुरुआत कर दी है।

साथ ही सरायकेला के काशी साहू कॉलेज में पीजी की पढ़ाई भी प्रारंभ होने वाली है। कुलपति ने कहा कि जेपीएससी के माध्यम से एक सौ शिक्षक भी मिले हैं। जिसके कारण शिक्षकों की कमी नहीं है। केवल जूलॉजी एवं हिंदी भाषा के शिक्षक नहीं मिले हैं। उन्होंने कहा कि खरसावां तथा खरसावां के आसपास के ग्रामीण छात्राओं को यहां आने में परेशानी होगी। इसीलिए इस विषय को लेकर हुए उपायुक्त से बात करेंगे। इस विषय को लेकर वे परिवहन मंत्री चंपाई सोरेन से भी बात करेंगे। उन्होंने कहा कि जब तक बस सुविधा नहीं होती है तब तक खरसावां के छात्राओं की ऑनलाइन पढ़ाई होगी। कार्यक्रम में वित्तीय पदाधिकारी पीके पानी ने उपस्थित छात्राओं से कहा कि वे तन मन लगाकर पढ़ाई करें। मेहनत के बल पर ही मंजिल पाया जा सकता है। मौके पर सीसीडीसी मनोज महापात्र ने कहा कि छात्राएं अपनी कैरियर की सपना देखें और उस दिशा में आगे बढ़ते रहें।

निश्चित रूप से आने वाले दिनों में उनका सपना पूरा होगा। डीएसडब्ल्यू सुरेश चंद्र दास ने कहा कि सुदूरवर्ती क्षेत्र में पीजी की पढ़ाई हो रही है। यह बहुत अच्छी पहल है। पहले यह पढ़ाई चुनिंदा कॉलेजों में ही हुआ करता था। और उसमें छात्रों की लंबी कतार रहती थी। परंतु अब सुदूरवर्ती क्षेत्रों में भी छात्रों को आगे बढ़ने का अवसर मिल रहा है।

कार्यक्रम में प्रॉट्रक्टर डा एमए खान ने कहा कि छात्राओं को स्मार्ट क्लासेस की सुविधा मिलेगी जो अच्छे अच्छे कॉलेजों में होते हैं। रजिस्ट्रार जयंत शेखर एवं एग्जाम कंट्रोलर एके चौधरी ने भी छात्राओं का हौसला बढ़ाया।कार्यक्रम में महिला महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य स्पार्कलीन देई ने कहा कि महाविद्यालय बनने में 6 वर्ष लग गए। और इस दौरान महाविद्यालय के संचालन में काफी परेशानी हुई। परंतु अब परेशानी नहीं होगी। मौके पर सेवानिवृत्त प्रोफेसर अतुल सरदार तथा अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।

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