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विद्यालय के प्राचार्या का गड़बड़झाला, 26 अक्टूबर को करेंगे अनिश्चितकालीन अनशन…

चांडिल (विद्युत महतो)

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चांडिल अनुमंडल के अनुग्रह नारायण प्लस टू उच्च विद्यालय पिलीद के समीप 26 अक्टूबर को अखिल झारखंड विस्थापित अधिकार मंच अभिभावकों के साथ अनिश्चितकालीन धर्ना प्रदर्शन एवं अनिश्चितकालीन अनशन करेंगे। उन्होंने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कह कि हिन्दी व अंग्रेजी के शिक्षक के बिना पढ़ाई कर रहे है 720 विद्यार्थियों का भविष्य अंधकारमय है, ऊपर से अवैध वसूली का कारनामा उजागर हो चुका है। उन्होंने कहा कि उपायुक्त को मांग पत्र सौंपा गया था , जिसपर जांच कमेटी भी बनाया गया। जांच में बच्चों ने भी लिखित रूप से अधिक रूपये वसुली का मामला जांच दल को दिया।

जांच के नाम पर कोरम पुरा कर लीपापोती का खेल भी पिछले दरवाजे से सुरू हुआ । आज तक इस पर कोई कार्रवाई नहीं करना समझ से परे है । उन्होंने कहा कि प्रदेश का 325 उत्कृष्ट विद्यालय में से एक अनुग्रह नारायण प्लस टू उच्च विद्यालय पिलीद का संचालन भाषा शिक्षकों के बिना ही चल रहा है। इस विद्यालय में कक्षा 9 वीं से 12वीं तक के 720 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं। कुछ दिन में मैट्रिक व इंटर की परीक्षा है परंतु यहां शिक्षकों की काफी कमी है।

विद्यालय में मात्र अर्थशास्त्र, इतिहास- नागरिक, विज्ञान एवं संस्कृति के ही शिक्षक है। जबकि संस्कृत के विद्यार्थि ही नहीं है। टीजीटी हिंदी के शिक्षक मुकेश कुमार साव को मॉडल स्कूल ईचागढ़ में एवं भूगोल के शिक्षक जीडी महतो को मॉडल स्कूल खरसावां में इस विद्यालय से प्रतिनियोजित कर दिया गया है, इसके कारण हिंदी एवं भूगोल विषय का पढ़ाई भी बाधित हो रही है। वर्तमान में हिंदी एवं अंग्रेजी विषय के एक भी शिक्षक न होने के कारण पूरा विद्यालय भाषा विहीन हो गया है।

इन सभी समस्याओं के साथ जूझ रहे विद्यार्थियों के ऊपर प्रधान अध्यापिका द्वारा अवैध वसूली की कार्रवाई नहीं होने के कारण तीन सूत्री मांगों को लेकर उपयुक्त सरायकेला को एक ज्ञापन पिछले 8 सितंबर को अखिल झारखंड विस्थापित अधिकार मंच के अध्यक्ष के पेड पर ज्ञापन संख्या :102/2023/ सौंपा गया था। उक्त आवेदन के आधार पर जिला शिक्षा पदाधिकारी के द्वारा जांच टीम गठित किया गया। 23 सितंबर को जांच हुई, परंतु जांच के बाद अब तक कोई कार्रवाई न होना, मालूम पड़ता है कि मामला को रफा दफा कर दिया गया।

जांच के बाद साक्ष्य को मिटाने के लिए फर्जी रसीद बनाया गया, रिकॉर्ड मेंटेन करने के लिए छात्र को इंडस्ट्रियल विजिट कराया गया। जिनके विरूद्ध जांच हो रही है, उन्हें जांच कमिटियों द्वारा अपने कार्यालय बुलाना, निष्पक्ष जांच पर संदेश खड़ा कर दिया। वहीं पर भ्रष्टाचार और वित्तीय अनियमितता होने के बाद भी विभाग द्वारा इस मामला को दबाने का काम किया जा रहा है। इसलिए प्रभारी प्रधानाध्यापिका पर यथाशीघ्र उचित कार्रवाई न होने की स्थिति में आगामी 26 अक्टूबर, दिन बृहस्पतिवार से शोषित माता-पिता एवं अभिभावकों के साथ विद्यालय परिसर में तीन सूत्रीय मांगों के साथ अनिश्चितकालीन आमरण अनशन पर बैठने का सुनिश्चित किया गया है।

उन्होंने कहा कि हमारी मांग है कि संस्कृत शिक्षिका मिताली को किसी अन्य विद्यालय में स्थानांतरित कर दिया जाए क्योंकि इस विषय पर पढ़ने वाले छात्रों की संख्या 12वीं में मात्र 3 है एवं यहां ऐसे विषय शिक्षकों की बहाली किया जाए जिसमें विद्यार्थियों की संख्या 500 से ऊपर है । हिंदी एवं अंग्रेजी विषय के वर्ग 9वीं से 12वीं तक के 720 विद्यार्थियों के लिए एक भी भाषा शिक्षक पदस्थापित नहीं है। अतः भाषा विहीन विद्यालय में दो हिंदी एवं दो अंग्रेजी शिक्षकों की बहाली किया जाए।

इस विद्यालय से डेपुटेशन में भेजे गए शिक्षकों को पुनः इस विद्यालय में पदस्थापित किया जाएं । उन्होंने बताया कि ज्ञापन का एक-एक प्रतिलिपि जिला शिक्षा पदाधिकारी सरायकेला खरसावां, प्रखंड विकास पदाधिकार ईचागढ़ एवं थाना प्रभारी ईचागढ़ को भी सौंपा गया है।

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