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सरायकेला-खरसावां (संजय मिश्रा)  झारखंड प्राथमिक शिक्षक संघ सरायकेला खरसावां जिला इकाई ने झारखंड सरकार के वित्त मंत्री रामेश्वर उरांव के बयान की घोर निंदा की है। बीते दिनों वित्त मंत्री द्वारा सरकारी स्कूलों में पढ़ाई का माहौल नहीं जैसे विवादित बयान पर आड़े हाथों लेते हुए संघ के प्रधान सचिव अमित कुमार महतो ने प्रेस बयान जारी कर कहा है कि

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झारखंड की केवल 10 से 12% शहरी क्षेत्र के विद्यार्थी ही निजी विद्यालयों में पढ़ते हैं। बाकी पूरी झारखंड की शिक्षा व्यवस्था सरकारी विद्यालय पर ही निर्भर है। सरकार शिक्षकों को गैर शैक्षणिक कार्यों से मुक्त कर केवल पढ़ाई के कार्य में लगाए तो हमारे शिक्षक भी उससे अधिक गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दे सकते हैं। शिक्षा व्यवस्था को पूर्ण रूप से केवल रिपोर्टिंग के माध्यम से ही चलाया जा रहा है। शिक्षक को विभिन्न तरह के गैर शैक्षणिक कार्यों में उलझा कर रखा जाता है। जिसके कारण शिक्षक पढ़ाना चाहते हुए भी दूसरे कार्यों में उलझे रहते हैं। अगर सरकार की नियत और सरकारी तंत्र अच्छा हो एवं शिक्षकों को भयमुक्त वातावरण में केवल पढ़ाने का कार्य दिया जाए तो सरकारी विद्यालय भी निजी विद्यालय से कहीं बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं। उन्होंने कहा है कि हमारे शिक्षकों में काबिलियत की कोई कमी नहीं है। मंत्री जी को दिल्ली सरकार से सीख लेनी चाहिए। श्री महतो ने संघ की ओर से मुख्यमंत्री से निवेदन किया है कि भविष्य में ऐसा बयान किसी मंत्री के द्वारा ना दिया जाए जिससे कि शिक्षक आंदोलन करने के लिए बाध्य हो।

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