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चाण्डिल – NH 33 TCI पेट्रल पम्प के आसपास क्षेत्र बन रहा है अवैध कारोबार का अड्डा, नकली शराब और गांजा का खुलेआम होता है व्यपार, प्रशासन है मौन…

जरा सोचिए आने वाला कल क्या होगा…..

चाण्डिल (कल्याण पात्रा) पुलिस प्रसाशन के हर दाबे चाण्डिल क्षेत्र में विफल सावित हो रहा है । लगातार सूचना के बावजूद भी अवैध कारोबार पर लगाम लगाने में असक्षम दिख रहे है पदाधिकारी ।
एनएच 33 कान्दरबेडा से लेकर पारडीह तक की सभी लाईन होटल में अवैध नकली शराब की विक्री खुलेआम चल रहा है यतना ही नहीं TCI पेट्रोल पम्प के आस पास राशन दुकानों में नकली शराब और गांजा का खुलेआम खरीद फरोस हो रहा है । वही बता दे कि डीसीआई पेट्रोल पम्प कैनाल रोड के झोपड़पटी दुकानो में जमशेदपुर के युवक शाम होते ही भीड़ देखने को मिलता है । कई महंगी गाड़ीयों से आते है । और शराब और गांजा का मजा लेते है । इस खबर की पुष्टी प्रतिदिन शराब के बोतलो को बोरे में भर कर लेजाते देखा जाता है । वही बोतल चुनने बाले बताते है कि प्रत्येक लेबल का बोतल को अलग कर बेचते है अच्छी खासी कमाई दिन भर में निकल आता है ।

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नशा का अवैध कारोबार से एनएच 33 अपराध का कारण भी…

आसनबनी टीसीआई अवैध नशा कारोबार के कारण हत्या, लुट और दुर्घठना हो रही है । नशेडियों को नाश का समान खरीइने के पैसे नही मिलते है वही युवक अपराधिक कार्य करने पर मजबूर हो जाते है कुछ माह पूर्व दर्जन युवक नशे में हथियार के साथ ग्रामिण ने पकड़कर पुलिस को दिया । हलांकि पुलिसिया जांच में पिस्तौल प्लास्टीक का निकला । ऐसे कई मामला चाण्डिल थाना में दर्ज जो नेशे में हुई दुर्धइना दर्ज है ।

गांजा गया से आती है और नकली शराब दलमा से …

थाना अंतर्गत आसंनबनी के टी सी आईं के कैनाल किनारे पान गुमठी में गांजा की बिक्री हो रही स्थानीय लोगों के अनुसार सुबह से शाम तक जामशेदपुर शहर से युवक, टेम्पोबाला और वाइक सवार युवकों का भीड़ जमा रहाता है बताय जाता है की प्रतिदिन एक किलो से अधिक गांजा का खप्त है । जो गया से कलकता जाने वाली लाईन ट्रक और बसों से आपूर्ति की जाती है ।

वही जमशेदपुर के कुछ सेल्समेन के द्वारा सरकारी वैध शराब को जिला सीमा पार कर सरायकेला के दलमा के धने जंगल और बंद पड़े भवनों में सरकारी शराब को नकली सराब में बदले कर चांडिल गोलचक्कर से आसनबनी फदलोंगोड़ा तक नकली शराब को लाईन होटल और डाबा में पहुंचाया जाता है ।

समय रहते इन नशे के कारोबारियों पर नकेल नहीं कसा गया तो आने वाली पिड़ी पर असर पड़ सकता है । सरकार और स्वयं सेवी संस्थानों के द्वारा नशा मुक्ति अभियान केवल दिखावा रह जायेगा

       

 जरा सोचिए आने वाला कल क्या होगा…

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