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झारखंड स्टेट कॉपरेटिव बैंक घोटाले के मामले में पिंटू

इंजीनियरिंग प्राइवेट लिमिटेड के खिलाफ मामले को

एनसीएलटी कोलकाता ने किया खारिज…..

(पिंटू इंजीनियरिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर संजय कुमार डालमिया से कुल राशि ₹30511715 का क्लेम बैंक द्वारा किया गया था।)

सरायकेला। राज्य चर्चित झारखंड स्टेट कोऑपरेटिव बैंक घोटाला के मामले पर सुनवाई करते हुए एनसीएलटी कोलकाता ने केस संख्या सीपी नंबर 1955 ऑफ 2019 पर निर्णय सुनाया है। जिसमें दिवालिया कानून के तहत झारखंड स्टेट कोऑपरेटिव बैंक ने पिंटू इंजीनियरिंग प्राइवेट लिमिटेड से तीन करोड़ राशि की मांग की थी।

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लेकिन बैंक के अधिवक्ता लगातार चार हियरिंग में अनुपस्थित रहने के कारण उक्त याचिका को एनसीएलटी कोलकाता ने खारिज कर दी। निर्णय सुनाते हुए एनसीएलटी ने इंसॉल्वेंसी एंड बैंक्रप्टी की धारा 7 के झारखंड स्टेट कोऑपरेटिव बैंक बनाम पिंटू इंजीनियरिंग प्राइवेट लिमिटेड के आवेदन को खारिज करते हुए कॉरपोरेट इंसॉल्वेंसी रिवॉल्यूशन प्रोसेस आरंभ करने से मना कर दिया। पिंटू इंजीनियरिंग प्राइवेट लिमिटेड के अधिवक्ता आकाश शर्मा एवं राजकुमार साहू ने बताया कि पिंटू इंजीनियरिंग के हलफनामा दाखिल करने के बाद से ही बैंक ने एनसीएलटी में आना छोड़ दिया।

उन्होंने बताया कि धारा 7 के तहत ये याचिका गैर कानूनी ढंग से लगाया गया था। बताते चलें कि नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल कोलकाता में उक्त केस संख्या के तहत मामला दर्ज कराया गया था। जिसमें पिंटू इंजीनियरिंग कंपनी प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर संजय कुमार डालमिया से कुल राशि ₹30511715 का क्लेम बैंक द्वारा किया गया था। जिसमें प्रिंसिपल अमाउंट ₹24850000 का क्लेम किया गया था।

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